मुख पृष्ठ
श्रीमद् भगवद् गीता
श्री राम चरित मानस
आध्यात्मिक चिंतन
बृज चित्र-दर्शन
भजन-संगीत
प्रार्थना
समर्पण
आज का विचार
जब तक व्यक्ति मन, बुद्धि से भगवान को प्राप्त करना चाहता है तब तक भगवान को प्राप्त करना असंभव है, जब व्यक्ति बुद्धि के द्वारा मन को भगवान को हर क्षण समर्पित करता जाता है तब उस व्यक्ति को एक दिन भगवान स्वयं प्राप्त हो जाते हैं।
नई पोस्ट
पुरानी पोस्ट
मुख्यपृष्ठ