आज का विचार


संतुलित भोजन के समान शरीर का पोषण करने वाला दूसरा नहीं होता है, चिंता के समान शरीर का शोषण करने वाला दूसरा नहीं है, मित्र के बिना शरीर संतुष्ट नहीं होता है और विद्या के बिना शरीर सुसज्जित नहीं होता है।